डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम सिंह की सबसे बड़ी राजदार हनीप्रीत को आज पंचकूला कोर्ट में किया जाएगा. हनीप्रीत और अन्य आरोपियों पर पंचकूला कोर्ट में चार्ज फ्रेम यानी आरोप तय होने पर बहस होगी. पंचकूला की सेशन कोर्ट में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए हनीप्रीत को पेश किया जाएगा.
25 अगस्त को पंचकूला में दंगे भड़काने की मुख्य आरोपी हनीप्रीत के खिलाफ FIR नंबर 345 में IPC की धारा 121, 121ए, 216, 145, 150, 151, 152, 153 और 120बी के तहत केस दर्ज है. इस मामले में उसके साथ 24 अन्य आरोपी भी अदालत में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए पेश किए जाएंगे.
हनीप्रीत साध्वी यौन शोषण मामले में डेरा प्रमुख गुरमीत राम रहीम को दोषी करार दिए जाने के बाद पंचकूला में हिंसा भड़काने और देशद्रोह मामले की आरोपी है. हनीप्रीत समेत 25 लोगों के खिलाफ SIT ने पंचकूला कोर्ट में चार्जशीट दाखिल की थी. इसी के तहत उनके खिलाफ आरोप तय किया जा रहा है.
इधर, डेरा हिंसा मामले में एक सनसनीखेज खुलासा हुआ है. पंचकूला के तत्कालीन एसडीएम पंकज सेतिया ने पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट में दिए गए एक हलफनामे में कबूला है कि वह हिंसा में शामिल हुए डेरा सच्चा सौदा के कई आरोपियों के संपर्क में थे. इसके लिए पंचकूला की तत्कालीन जिलाधीश गौरी प्रसाद जोशी ने आदेश जारी किए थे. यह मामला हाल ही में तब हाईकोर्ट के संज्ञान में आया जब हिंसा के एक आरोपी जसवीर सिंह ने कोर्ट में अग्रिम जमानत की याचिका दायर करते हुए दावा किया था कि वह पंचकूला के आला अधिकारियों और यहां तक कि ड्यूटी मजिस्ट्रेट पंकज सेतिया के संपर्क में भी था. हाईकोर्ट ने हरियाणा के अतिरिक्त गृह सचिव से इस बारे में जवाब मांगा था.
उन्होंने कोर्ट को बताया कि पंचकूला के अधिकारी बिना सरकारी अनुमति के ही डेरा के गुंडों के संपर्क में थे. सरकार ने किसी भी कथित शांति-समिति को बनाने के आदेश जारी नहीं किए थे. वहीं पंचकूला के एसडीएम पंकज सेतिया ने मंगलवार को पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट में दिए अपने हलफनामे में गृह सचिव को गलत ठहराया है. उन्होंने कहा कि पंचकूला जिलाधीश की अध्यक्षता में हुई बैठक में डेरा सच्चा सौदा के प्रतिनिधियों के साथ मिलकर एक पीस कमेटी गठित की गई थी, जिसके जरिए डेरा के लोगों को कानून व्यवस्था बनाए जाने और पंचकूला में लाखों लोगों पर नियंत्रण रखने के लिए कहा गया था.