काशनार्थ
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चरखा चलाने से व्यक्तित्व का विकास होता है: बीबीआरएफआई
• ब्रेन बिहैबियर माइंड मैटर्स का हुआ लोकार्पण, जेपी नड्डा एवं नितिन गडकरी ने दिए शुभकामना संदेश, डॉ.राजेश मल्होत्रा बने मुख्य अतिथि
• गांधी स्मृति एवं दर्शन समिति के सहयोग से हुआ शोध, चरखा के वैज्ञानिक महत्व को आगे लाने की हो रही है कोशिश
नई दिल्ली,
महात्मा गांधी के 150 वीं जयंती वर्ष में देश दुनिया के सामने एक अनोखा शोध सामने आया है। इस शोध में बताया गया है कि चरखा चलाने से व्यक्ति के सम्पूर्ण व्यक्तित्व का विकास होता है। उसकी एकाग्रता बढ़ती है। उसके आपसी एवं सामाजिक जीवन बेहतर बनते हैं। इन तमाम निष्कर्षों का दावा ब्रेन बिहैवियर रिसर्च फाउंडेशन ऑफ इंडिया (बीबीआरएफआई) ने गांधी स्मृति एवं दर्शन समिति के सहयोग से किए अपने शोध में किया है। इस शोध के बारे में बताते हुए बीबीआरएफआई की अध्यक्षा डॉ. मीना मिश्रा ने बताया कि इस शोध का मुख्य उद्देश्य चरखा की प्रासंगिकता को वैज्ञानिक मापदंडों की कसौटी पर कसना था। इस शोध के परिणाम बहुत ही सार्थक रहे हैं। इससे चरखा की जरूरत को देश-दुनिया और भी वैज्ञानिक तरीके से समझ पाएगी। इसे शोध के बारे में उन्होंने आगे बताया कि अप्रैल 2018 से अक्टूबर 2018 के बीच यह शोध किया गया। इस शोध में प्री और पोस्ट एक्सपेरिमेंटल मैथड का इस्तेमाल किया गया है। सीमित सैंपल के दो ग्रुप हमने अपने अध्ययन के लिए लिया। एक ग्रुप को रोज चरखा चलाना था दूसरे ग्रुप को कुछ नहीं करना था। अध्ययन शुरू करने से पहले इनके कुछ मनोवैज्ञानिक पैरामीटर जैसे एकाग्र होने की क्षमता, याद्दाश्त, मस्तिष्क की तरंगों का डेटा लिया गया और फिर दोबारा इसी तरह हमने एक महीने तक चरखा चलवाने के पश्चात, इसका असर जानने के लिए पोस्ट टेस्ट्स करके डेटा कलेक्ट किया। इस ग्रुप का भी प्री एंड पोस्ट डेटा लिया जिसे कुछ नहीं करवाया गया था। दोनों की तुलना कर चरख चलाने वाले और न चलाने वाले ग्रुप के बीच के फर्क का डेटा इकट्ठा किया गया।
नई दिल्ली के राजघाट स्थित सत्याग्रह मंडप में आयोजित इस कार्यक्रम में ‘ब्रेन बिहैवियर- माइंड मैटर्स’ पत्रिका का भी लोकार्पण हुआ। इस पत्रिका को दिए अपने संदेश में केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा ने कहा कि विकासशील अर्थव्यवस्था है, भारत में मानसिक स्वास्थ्य की समस्याएं बढ़ती जा रही है, ऐसे में हमें आशा है कि यह पत्रिका मानसिक स्वास्थ्य के बारे में लोगों को जागरूक करने काम करने में सफल रहेगी। वही सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने अपने संदेश में कहा है कि निश्चित रूप से यह पत्रिका प्रत्येक व्यक्ति को बेहतर समाज बनाने के लिए प्रेरित करने का काम करेगी। स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग, भारत सरकार स्वास्थ्य सचिव प्रीति सूदन, आइएमए अध्यक्ष डॉ. रवि एस वानखेडकर, एम्स के डायरेक्टर आचार्य रणदीप गुलेरिया, डीएमए अध्यक्ष अश्वनी गोयल सहित तमाम लोगों ने इस पत्रिका के लिए बीबीआरएफआई को अपना शुभकामना संदेश प्रेषित किया है।
लोकार्पण के पूर्व आगत अतिथियों ने दीप प्रज्ज्वलन कर कार्यक्रम की शुरूआत की। डॉ. आलोक मिश्र एवं सुबोध कुमार ने बीबीआरएफआई की पृष्ठभूमि को सामने रखा। डॉ. मीना मिश्रा ने चरखा का मानसिक स्वास्थ्य पर पड़ने वाले असर के बारे में अपना प्रजेंटेशन प्रस्तुत किया। इस अवसर पर मुख्य अतिथि जेपीएनए एम्स के प्रमुख डॉ. राजेश मलहोत्रा, सी. बी. एस. ई. के पूर्व चेयरमैन और डी. पी. एस. सोसाइटी के मेम्बर प्रो.बी.पी. खंडेलवाल, आरएमएल से डॉ.आर.पी.बेनिवाल, एम्स से डॉ.राजेश सागर सहित तमाम लोगों ने अपनी बात रखी। जिन बच्चों के बीच में बीबीआरएफआई अपना काम कर रहा है, उन बच्चों ने भी अपने अनुभव साझा किए। गुगल गर्ल के नाम से विख्यात विभूति (8 वर्ष) ने सबका ध्यान अपनी ओर आकृष्ट किया। इस लड़की की याददाश्त गज़ब की है। देश-दुनिया के बारे में यह पलक झपकते जानकारी दे रही थी। इस अवसर पर बीबीआरएफआई के मार्गदर्शक रहे स्व. जोगिन्दर सिंह जी को श्रद्धाजली दी गई। साथ ही आयोजकों ने इस चरखा पर शोध के लिए दिए गए सहयोग के लिए गांधी स्मृति एवं दर्शन समित को विशेष आभार प्रकट किया।
कार्यक्रम का संचालन डॉ. मोनिका मोंगिया एवं अनुराग डोंडियाल ने किया। इस अवसर पर तोशेन्द्र द्विवेदी, एमिटी यूनीवसिटी, दिनेश शर्मा, अजय तंवर (एडूप्लस), सुभाष चन्द्र जैन (एमएफडी अकादमी), कुशुम साह, अभिनव आचार्य, श्याम बिहारी लोहिया, अजय यादव, विजय जैन, अभिनव पांडेय, धीरज गोयल, समन्वय परिवार, विश्व समन्वय संघ, इंदू बाला जी, पवन बिज, प्रो. यूएस पांडेय (विभाध्यक्ष, एसओएल डीयू) संजय भट्टाचार्या, अंशु जैन, सुबोध कुमार, राघव पाठक, पवन सिंह, डोली जामवाल, संजय सागर, विभूति (गुगल गर्ल), संदीप जिंदल, डॉ. आशीष महाजन (सान्या डाग्नोस्टिक्स), अनीता गुप्ता (होप फाउंडेशन), अनुज वर्मा (वी द ह्यूमन फाउंडेशन), डॉ. अभिलाषा, धीप्रज्ञ द्विवेदी, प्रियंका सिंह, आशुतोष कुमार सिंह (स्वस्थ भारत न्यास), रविकांत झा (आदिम जाति सेवक संघ), सुमीत जी (उड़ान), डॉ. नीना पांडेय (डीयू), भरत सिद्धार्थ, ऋषि राज सिंह, डॉ. श्रीनिवास, आर.एन.पांडेय, डॉ. अखिलेश मिश्रा (सीनियर साइंटिस्ट, डीएसटी), डॉ. राकेश चोपड़ा, जयिता विश्वास, प्राण बोज़पुजारी सहित तमाम गणमान्य लोग उपस्थित रहे। इस कार्यक्रम के मीडिया सहयोगी स्वस्थ भारत डॉट इन, सत्य चक्र एवं एकेपी न्यूज थे।