फिरोजाबाद महोत्सव में माया कुलश्रेष्ठ की प्रस्तुतुति से सभागार में उपस्थित लाखो लोग और पर्यटन और संस्कृति मंत्री श्री जयवीर सिंह प्रभावित हुए प्रस्तुति में माया कुलश्रेष्ठ ने कहा ये जरूरी है की आज के समय में हर स्त्री स्वयं स्थित दुर्गा का आहवान करे ।
माया कुलश्रेष्ठ अपने नृत्य में भाव के लिए जानी जाती है, माया के बारे में प्रसिद्ध पद्मश्री सुनील कोठरी कला समीक्षक ने खजुराहो महोत्सव में कहा था की माया कुलश्रेष्ठ का नृत्य एक जीती जागती पेंटिंग की तरह है। माया नृत्य के सौंदयकर्ण का ध्यान रखती है इसी तरह से युवा पीड़ी तक भारतीय कला को पहुंचाया जा सकता है ।
अपने नृत्य नाटिका के बारे में माया ने बताया की आज के इस समय में जब एक स्त्री अनेक जिम्मेदारी एवं तनाव सहती है तो वह निराश ना हो और शक्ति रूपा का ध्यान करे। उन्होंने कहा मणिकर्णिका का यह 8वा प्रदर्शन था में अपने नृत्य के लिए खुद ही लिखती हूं इससे में अपने दर्शको से अपने विचार कह पाती हूं।
मणिकर्णिका को कुछ 4 महीने लगे एक नृत्य नाटिका लिखने ,गाने ,कथक के रूप देने में।