बजट सत्र के दूसरे हिस्से का आज 16वां दिन है और अब इस सत्र में सिर्फ 10 ही दिन बचे है. मंगलवार को भी लोकसभा में अविश्वास प्रस्ताव के नोटिस दिए गए थे लेकिन सदन में ऑर्डर में न होने की वजह से प्रस्ताव नहीं रखे जा सके. इससे पहले भी कई बार अविश्वास प्रस्ताव के नोटिस दिए जा चुके हैं लेकिन एक भी बार इसे सदन में रखा नहीं जा सका है.
लोकसभा की कार्यवाही के दौरान AIADMK सांसदों ने सदन में जमकर हंगामा किया. इसके बाद सदन की कार्यवाही दिनभर के लिए स्थगित कर दी गई. वहीं राज्यसभा में हंगामे की वजह से सांसदों की विदाई पर भी चर्चा नहीं हो सकी और सभापति वेंकैया नायडू ने अपनी नाराजगी जाहिर करते हुए सदन की कार्यवाही को दिनभर के लिए स्थगित कर दिया.
संसद से लाइव अपडेट्स
12.08 PM: हंगामे की वजह से लोकसभा की कार्यवाही कल तक के लिए स्थगित
12.07 PM: स्पीकर ने सदन को बताया कि मुझे अविश्वास प्रस्ताव के नोटिस मिले हैं लेकिन मैं इस हंगामे में प्रस्ताव का समर्थन कर रहे सांसदों की गिनती नहीं कर सकतीं. स्पीकर ने कहा कि सदन ऑर्डर में नहीं है ऐसे में अविश्वास प्रस्ताव को सदन में नहीं रखा जा सकता.
12.05 PM: लोकसभा में संसदीय कार्यमंत्री अनंत कुमार ने कहा कि सरकार के पूरा बहुमत है और हम अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा के लिए तैयार हैं
12.04 PM: लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि अविश्वास प्रस्ताव के लिए 50 सांसदों को समर्थन जरूरी होता है लेकिन यहां 50 से ज्यादा सांसद प्रस्ताव समर्थन कर रहे हैं. स्पीकर ने कहा कि हंगामे के बीच उनकी गिनती मुमकिन नहीं है.
12.03 PM: लोकसभा के पटल पर रखे जा रहे हैं दस्तावेज, विभिन्न मांगों को लेकर AIADMK सांसदों का हंगामा जारी
12.02 PM: लोकसभा में स्पीकर ने बताया कि उन्हें विभिन्न मुद्दों पर स्थगन प्रस्ताव के नोटिस मिले हैं लेकिन उन्होंने किसी भी नोटिस को मंजूरी नहीं दी है.
12.01 PM: लोकसभा की कार्यवाही शुरू
11.29AM: राज्यसभा की कार्यवाही दिनभर के लिए स्थगित
11.28 AM: सभापति ने कहा कि वह सांसदों की विदाई पर चर्चा चाहते हैं. उन्होंने कहा कि सदन में चर्चा हो या फिर कार्यवाही को स्थगित किया जाए. अपील के बाद भी सांसदों के हंगामे पर सभापति ने नाराजगी जाहिर की और कहा कि ऐसे में सदन नहीं चल सकता.
11.25 AM: सभापति ने अपील करते हुए कहा कि हम सदन से रिटायर हो रहे सांसदों को विदाई देना चाहते हैं साथ में उनके विदाई भाषण को सुनना चाहते हैं. इसलिए आप लोग सदन में शांति बनाए रखें
11.24 AM: राज्यसभा की कार्यवाही शुरू
11.08 AM: सभापति ने सभी दलों के नेताओं को अपने कक्ष में बुलाते हुए राज्यसभा की कार्यवाही 15 मिनट के लिए स्थगित कर दी
11.06 AM: नेता प्रतिपक्ष गुलाम नबी आजाद ने कहा कि हम सदन में चर्चा के लिए तैयार हैं. वहीं सरकार की ओर से संसदीय कार्य राज्यमंत्री विजय गोयल ने कहा कि हमारे वरिष्ठ सांसद रिटायर हो रहे हैं ऐसे में वेल में आकर सांसदों को हंगामा नहीं करना चाहिए.
11.04 AM: सभापति ने हंगामा कर रहे सांसदों से अपील करते हुए कहा कि हम रिटायर हो रहे सांसदों को विदाई देना चाहते हैं और ऐसे में आप वेल में आकर हंगामा न करें
11.03 AM: कावेरी मुद्दे पर राज्यसभा में हंगामा कर रहे हैं AIADMK सांसद
11.02 AM: राज्यसभा में पटल पर रखे जा रहे हैं दस्तावेज
11.01 AM: लोकसभा की कार्यवाही 12 बजे तक स्थगित
11.00 AM: लोकसभा और राज्यसभा की कार्यवाही शुरू
10.57AM: आंध्र प्रदेश के लिए विशेष दर्जे की मांग को लेकर संसद परिसर में टीडीपी सांसदों का विरोध प्रदर्शन
10.30 AM: आरजेडी सांसद ने लोकसभा में दिया स्थगन प्रस्ताव का नोटिस, भागलपुर दंगे के मुख्य आरोपी की गिरफ्तार न होने पर चर्चा की मांग
शुक्रवार को संसद में ये हुआ
लोकसभा में शुक्रवार को टीडीपी और वाईएसआर कांग्रेस की ओर से केंद्र सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव का नोटिस दिया गया था. लेकिन सदन ऑर्डर में न होने की वजह से प्रस्ताव सदन में नहीं रखा जा सका. राज्यसभा में सभापति वेंकैया नायडू ने सांसदों के हंगामे पर नाराजगी भी जताई थी.
शुक्रवार को भी संसद की कार्यवाही हंगामे की भेंट चढ़ गई. इसके चलते लोकसभा और राज्यसभा की कार्यवाही को मंगलवार तक के लिए स्थगित किया गया था. सोमवार को रामनवमी के वजह से अतिरिक्त अवकाश दिया गया था.
सोमवार को रिवोल्यूशनरी सोशलिस्ट पार्टी और मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (सीपीएम) ने भी मोदी सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव का नोटिस लोकसभा महासचिव को भेज दिया था. लोकसभा में सीपीएम संसदीय दल के नेता पी करुणाकरन की ओर से लोकसभा महासचिव को सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव का नोटिस भेजा गया है. टीडीपी, वाईएसआर कांग्रेस और कांग्रेस पहले ही लोकसभा महासचिव को अविश्वास प्रस्ताव के नोटिस दे चुकी है. इस बार बनेगी बात?
तेलंगाना राष्ट्र समिति (टीआरएस) की बैठक में यह फैसला लिया गया है कि वह अविश्वास प्रस्ताव के लोकसभा में रखे जाने के दौरान सदन में हंगामा नहीं करेगी. तेलंगाना में आरक्षण सीमा को बढ़ाए जाने की मांग पर अड़ी टीआरएस की संसदीय दल की बैठक में यह फैसला लिया गया है. अब तक आए प्रस्तावों पर सदन में गिनती के दौरान टीआरएस और एआईएडीएमके के सांसद वेल में आकर हंगामा करने लगते थे.
नहीं रखे जा सके प्रस्ताव
टीडीपी और वाईएसआर कांग्रेस बीते 2 हफ्ते से लगातार अविश्वास प्रस्ताव के नोटिस लोकसभा में दे रही हैं लेकिन सदन ऑर्डर में न होने की वजह से एक भी बार प्रस्ताव को सदन में नहीं रखा जा सका है. टीडीपी और वाईएसआर कांग्रेस का आरोप है कि टीआरएस मोदी सरकार को बचाने के लिए सदन में हंगामा कर रही है ताकि प्रस्ताव को रखा नहीं जा सके.
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी आज दिल्ली में हैं और वह संसद भवन जाकर विपक्षी दलों के सांसदों से मुलाकात भी करेंगी. माना जा रहा है कि तीसरे मोर्चे के गठन की कवायद के लिए ममता ने दिल्ली का रुख किया है. संसद में आज का एजेंडा
लोकसभा आज में भगोड़े आर्थिक अपराधियों के संपत्ति जब्त करने वाले विधेयक पर चर्चा की जाएगी. साथ ही इसे सदन से पारित करने की कोशिश की जाएगी. सदन में बीते हफ्ते भगोड़ा आर्थिक अपराधी विधेयक 2018 को पेश किया गया था.
केंद्र सरकार ने विजय माल्या और नीरव मोदी जैसे मामलों के बाद इस दिशा में कानून लाने की पहल की है. विधेयक में ऐसे आर्थिक अपराधियों को रखा गया है जो कानूनी कार्रवाई और गिरफ्तारी से बचने के लिए देश छोड़ कर भाग जाते हैं. विधेयक को पिछले दिनों कैबिनेट की ओर से मंजूरी दी गई थी.
संसद के दोनों सदनों में आज बैंकिंग क्षेत्र की अनियमितताओं पर चर्चा प्रस्तावित है. इसमें पीएनबी बैंक घोटाला और नीरव मोदी का मुद्दा शामिल है. लोकसभा में आज बिना वोटिंग के नियम 193 के तहत बैंक घोटाले पर चर्चा प्रस्तावित है. वहीं राज्यसभा में कार्मिक मंत्री जितेंद्र सिंह भ्रष्टाचार निवारण संशोधन विधेयक 2013 को सदन में पारित कराने का प्रस्ताव करेंगे. इस विधेयक में भ्रष्टाचार को गंभीर अपराध की श्रेणी में लाने का प्रावधान है. राज्यसभा में मोटर यान विधेयक को भी पारित किया जाना है, इसमें ट्रैफिक नियमों तोड़ने पर सख्त जुर्माने जैसे कई प्रावधान शामिल हैं. वित्त मंत्री अरुण जेटली आज राज्यसभा में स्टेट बैंक (निरसन और संशोधन) विधेयक पेश कर सकते हैं. सरकार की कोशिश होगी कि ये विधेयक सदन से पारित हो सके. इस विधेयक में बैंकों के विलय के बाद उनके तर्कसंगत इस्तेमाल पर जोर दिया गया है.